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दुष्कर्म मामले में आसाराम दोषी करार, सजा पर बहस जारी

मैट्रो प्लस से नेहा खन्ना की रिपोर्ट
नई दिल्ली ,25 अप्रैल:आश्रम में नाबालिग से दुष्कर्म मामले में आसाराम सहित 3 लोगों को दोषी करार दिया गया है। जबकि 2 आरोपियों को बरी कर दिया गया। जस्टिस मधुसूदन शर्मा ने जोधपुर जेल में अपना यह फैसला सुनाया। दोषी ठहराए जाने के बाद कोर्ट में दोषियों की सजा पर बहस जारी है। बहस के दौरान वकीलों ने आसाराम की अधिक उम्र का हवाला देेते हुए उनके लिए कम सजा मांग की है। जोधपुर की कोर्ट ने सुरक्षा कारणों से सेंट्रल जेल परिसर में ही फैसला सुनाने का निर्णय किया था। कोर्ट ने आसाराम के अलावा सह आरोपी शरतचंद्र और शिल्पी को भी दोषी करार दिया है। वहीं शिवा और प्रकाश को बरी किया गया है। फैसले के मद्देनजर केंद्र सरकार ने दिल्ली राजस्थान,गुजरात और हरियाणा को सुरक्षा कड़ी करने के निर्देश दिए हैं।
फैसला आने के बाद पीडिता के पिता ने कहा कि आसाराम को दोषी ठहराया गया है। हमें न्याय मिला है। मैं उन सभी को धन्यवाद देना चाहता हूं जिन्होंने इस लड़ाई में हमारा समर्थन किया। अब मुझे आशा है कि उसे सख्त सजा मिलेगी। मुझे उम्मीद है कि जिन गवाहों कि हत्या या अपहरण किया गया था। उन्हे भी न्याय मिला। अदालत का फैसला आने के बाद आसाराम की प्रवक्ता नीलम दुबे ने कहा हम कानून के जानकारों से चर्चा करेंगे और फिर भविष्य की कार्रवाई का फैसला करेंगे। हमें न्यायपालिका पर भरोसा है।
आसाराम व उसके पुत्र नारायण साईं के खिलाफ चल रहे केसों में अहम गवाह पानीपत के गांव सनौली निवासी महेंद्र चावला ने अतिरिक्त सुरक्षा की मांग की है। आसाराम को दोषी ठहराए जाने से पहले उन्होंने कहा कि मैं न्यायपालिका पर भरोसा करता हूं और मुझे विश्वास है कि आसाराम को दोषी ठहराया जाएगा। मैं न्यायपालिका से अनुरोध करता हूं कि ऐसे दुष्कर्मियों को फांसी दी जानी चाहिए। हालांकि मेरे पास सुरक्षा है लेकिन मैं अतिरिक्त सुरक्षा के लिए केंद्र से अनुरोध करता हूं। अन्य गवाहों की तरह मेरा जीवन लगातार खतरे में है।
फैसला आने से पहले देशभर में आसाराम के लिए अनुयायी पूजा पाठ में जुटे रहे। आसाराम के विभिन्न आश्रमों में अनुयायी इकठ्ठा होकर उसकी रिहाई के लिए पूजा कर रहे थे। लेकिन उनकी यह पूजा पाठ भी आसाराम के काम नहीं आयी। आसाराम पर पॉक्सो और एस सी एस टी एक्ट की धाराएं लगाई गई हैं। आसाराम को जोधपुर पुलिस ने 31 अगस्त 2013 को गिरफ्तार किया था और तब से वह जोधपुर जेल में बंद है। आसाराम को दस साल तक की सजा हो सकती है। आसाराम ने धमकाया था। इसलिए पीडि़ता ने दिल्ली जाकर 20 अगस्त 2013 को कमला नगर पुलिस थाने में एफ आई आर दर्ज कराई थी। वहां से केस जोधपुर रेफर किया गया था। जोधपुर पुलिस ने 31 अगस्त 2013 को इंदौर से आसाराम को गिरफ्तार किया था। तब से वह जेल में है।

 


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