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HSIIDC: जीरो टोलरेंस सरकार में एक भ्रष्ट्राचारी की जगह दूसरे भ्रष्ट्राचारी की पोस्टिंग पर उठे सवाल!

Metro Plus से Naveen Gupta की रिपोर्ट।
फरीदाबाद, 13 अप्रैल:
HSIIDC के दो-दो अधिकारियों को एंटी करप्शन ब्यूरो @ACB द्वारा रिश्वतखोरी के आरोप में गिरफ्तार करने का मामला अभी पूरी तरह शांत भी नहीं हुआ कि HSIIDC के मैनेजिंग डॉयरेक्टर ने भ्रष्ट्राचार के आरोप में एक लाख की रिश्वत लेते रंगे हाथों गिरफ्तार हो चुके एक अधिकारी की फरीदाबाद में पोस्टिंग कर सरकार की कार्यशैली पर सवालिया निशान लगा दिया है। जिले के उद्योगपतियों में इस भ्रष्ट्र अधिकारी की पोस्टिंग को लेकर काफी नाराजगी देखी जा रही है। इस पोस्टिंग ने एक नए विवाद को जन्म दे दिया है।
जीरो टोलरेंस की नीति पर चलने का दावा करने वाली मनोहर सरकार में भ्रष्ट्राचार किस हद कदर तक हावी है, ये किसी से छिपा नहीं है। खासकर उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए बनी हरियाणा स्टेट इंडस्ट्रियल इंफास्ट्रकचर डवलपमेंट कॉरपोरेशन यानि HSIIDC तो इसका जीता-जागता प्रमाण है। भ्रष्ट्रचार में पूरी तरह डूबी इस HSIIDC में बिना रिश्वत लिए-दिए एक भी फाईल ईधर से उधर तक नहीं होती, काम होना तो दूर की बात है।
HSIIDC के अधिकारी तब से कुछ ज्यादा ही चर्चा में हैं जब से विजिलेंस जिसका नाम अब एंटी करप्शन ब्यूरो है, के चीफ शत्रुजीत कपूर के मार्गदर्शन में ACB ने HSIIDC के सीनियर मैनेजर मनोज बढग़ुर्जर को गत् 15 मार्च को उनके IMT कार्यालय से 50 हजार की रिश्वत लेते रंगे हाथों गिरफ्तार किया था। वो बात अलग है कि मात्र 25 दिनों के अंदर की उसकी सेशन कोर्ट से जमानत भी हो गई।
हाल-फिलहाल जो मामला है, वो है जीरो टोलरेंस की नीति पर चलने का दावा करने वाली मनोहर सरकार के अधिकारियों द्वारा भ्रष्ट्राचार को बढ़ावा देने का। इसका एक जीता-जागता उदाहरण है HSIIDC के मैनेजिंग डॉयरेक्टर विकास गुप्ता द्वारा कल बुधवार, 12 अप्रैल को फरीदाबाद में एक ऐसे अधिकारी सत्यनारायण कटारिया को मनोज बढग़ुर्जर के स्थान पर सीनियर मैनेजर लगाना जिसको कि 20 लाख की रिश्वत मांगने व एक लाख रूपये की रिश्वत लेने के आरोप में कुंडली (सोनीपत) में पूरे 5 साल पहले गत् 11 अप्रैल 2018 को रंगे हाथों गिरफ्तार किया गया था। कटारिया पर आज भी सोनीपत कोर्ट में भ्रष्ट्राचार का केस चल रहा है। कटारिया पर सैक्टर-56, कुंडली, सोनीपत की एक यूनिट के प्रोविजनल ट्रांसफर लैटर जारी करने के नाम पर एक बिजनेसमैन से 20 लाख रूपये मांगने का आरोप है। कटारिया के साथ उस समय HSIIDC के मैनेजर जसमेर सिंह को भी गिरफ्तार किया गया था।
HSIIDC के मैनेजिंग डॉयरेक्टर विकास गुप्ता द्वारा ऐसे समय में जब यहां 15 मार्च को ही दो-दो अधिकारियों को एंटी करप्शन ब्यूरो द्वारा गिरफ्तार किया गया हो, भ्रष्ट्राचार के आरोपी सत्यनारायण कटारिया की फरीदाबाद में पोस्टिंग करना मनोहर सरकार की कार्यप्रणाली पर सवालिया निशान खड़े करता है।


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