– गंगाजल से बल्लभगढ़ की सड़कों को नहीं, सीएम और विधायक अपने कुशासन के पाप धोएंगे: पराग शर्मा
मैट्रो प्लस से नवीन गुप्ता की रिपोर्ट
बल्लभगढ, 15 मार्च: लोकसभा चुनावों का बिगुल बजते ही विधायक मूलचंद शर्मा ने बल्लभगढ़ की सड़कों को गंगाजल से धुलवाने का विवादास्पद बयान देकर सरकार व अपने लिए बैठे-बिठाए इस चुनावी दौर में आफत मोल ले ली है। धीरे-धीरे यह मामला अब तूल पकड़ता जा रहा है। इस मामले में जहां पूर्व मुख्य संसदीय सचिव शारदा राठौर ने मूलचंद शर्मा के खिलाफ मोर्चा खोल रखा हैं और चुनाव आचार संहिता के उल्लंघन के मामले में शिकायत दी हुई हैं, वहीं अब बल्लभगढ़ के पूर्व विधायक प. योगेश शर्मा एडवोकेट की बेटी एवं कांग्रेस की पर्यावरण प्रकोष्ठ की प्रदेश कॉर्डिनेटर व प्रवक्ता पराग शर्मा ने भी मूलचंद शर्मा के खिलाफ झंडा बुलंद कर दिया है। मुख्यमंत्री मनोहरलाल खट्टर के बल्लभगढ़ के रोड़ शो के दौरान विधायक मूलचंद शर्मा द्वारा सड़कों पर पवित्र गंगाजल फेंककर लोगों की धार्मिक भावनाएं आहत करने के मामले में पराग शर्मा ने आज थाना शहर पर अपने समर्थकों के साथ जोरदार प्रदर्शन कर मूलचंद शर्मा के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की मांग को लेकर एसएचओ को ज्ञापन सौंपा।
कांग्रेस की पर्यावरण प्रकोष्ठ की प्रदेश कॉर्डिनेटर एवं प्रवक्ता पराग शर्मा ने विधायक मूलचंद शर्मा द्वारा सड़कों को गंगाजल से धोने की बात के प्रकरण को सीधे तौर पर मां गंगा का अपमान बताते हुए तत्काल मुख्यमंत्री से जनता के सामने माफी मांगने को कहा है। पराग शर्मा ने कहा है कि बल्लभगढ़ आज कचरे का शहर बन गया है, देश-विदेश में प्रदूषण का गढ़ बन गया है। इसलिए विधायक द्वारा जनता को गुमराह कर और मुख्यमंत्री द्वारा अपने 5 साल के कुशासन और पाप छुपाने के लिए आपसी मिलीभगत से सड़कों को गंगाजल से धोने की बात कर रहे हैं।
पराग ने कहा है कि विधायक मूलचंद शर्मा द्वारा दिया गया ऐसा घिनौना कथन चाटुकारिता/चापलूसी की हद है। गंगाजल की आड़ में विधायक सिर्फ अपनी टिकट को बचाने की जुगत लगा रहे है। बल्लभगढ़ की जनता अब तक सब कुछ समझ चुकी है, जान चुकी है। पराग ने कहा है कि आज बल्लभगढ़ की जनता बेहाल है, महिलाएं राशन कार्ड बनवाने के लिए रोज कतार में 8 से 10 घंटे बर्बाद कर रही हैं, इको ग्रीन प्रोजेक्ट कागजों तक ही सिमटा है, प्रदूषण से सांस लेने की समस्या के चलते अस्पतालों में बच्चों की संख्या दिनों-दिन बढ़ती जा रही हैं, विधायक अपनी शह पर स्कूलों में शादी के मंडप लगवा रहे हैं, बच्चे गंदगी के बीच स्कूलों में पढऩे को विवश हैं, किसान मजदूर बन रहा है, युवाओं का बेरोजगारी के चलते लोकतंत्र से मोहभंग होता जा रहा है, अच्छे दिनों के नाम पर इस सरकार ने बल्लभगढ़ की जनता को सरकारी ऑफिसों के बाहर लम्बी कतारों में खड़ा कर दिया है, 500 करोड़ की लोक-कल्याणकारी योजनाओं का दुरूपयोग कर इस सरकार ने बस अपनी जेबों को भरने का काम किया है।
पराग का कहना है कि इस सरकार के पाप का घड़ा अब भर गया है इसलिए ये लोग अपने पाप धोने के लिए मां गंगा के जल का सहारा लेने की बात कर रहे है। पराग ने कहा कि हरियाणा की हर सड़क शहीदों के बलिदान से शोभित हुई है, पवित्र हुई है, जिसे गंगाजल से धोने की बात कहना लोगों की भावनाओं तथा हमारे प्रदेश के शहीदों का सरासर अपमान करना है। ये सारा खेल मुख्यमंत्री के इशारे पर हो रहा है। बीजेपी, आरएसएस की यही विचारधारा है कि पहले पाप करो फिर उसे गंगाजल, गाय, मंदिर के नाम पर धो डालो।
पराग ने कहा कि मुख्यमंत्री अपना ताज बचाने के लिए अभी वो सब काम भी करेंगें जो चाहे जितने अनैतिक हो, चाहे गंगाजल का अपमान हो या रोड़ शो के दौरान चुनावी आचार संहिता की धज्जियां उड़ाकर सड़कों को जुमलेबाजी बैनरों या होर्र्डिंग्स से भरना हो या कांग्रेस के खिलाफ झूठा प्रोपेगेंडा पैदा करना, ये लोग जीतने के लिए किसी भी हद तक जा सकते हैं।
अब देखना या है कि क्या पुलिस प्रशासन पराग शर्मा की शिकायत पर सत्तारूढ़ दल के विधायक के खिलाफ एफआईआर दर्ज करता है या नहीं। वैसे फिलहाल यह मामला सियासी रूप ले चुका है जिसकी राजनैतिक गलियारों में पूरी चर्चा है।