5 वर्षों में 706 करोड़ रुपए की पकड़ी बिजली चोरी और 378 करोड़ रूपए हुए जमा: पीसी मीणा
बिजली चोरी करना कानूनन अपराध, इसमें जुर्माना और सजा का प्रावधान
मैट्रो प्लस से नवीन गुप्ता की रिपोर्ट
फरीदाबाद, 13 सितंबर: दक्षिण हरियाणा बिजली वितरण निगम के प्रबंध निदेशक पीसी मीणा ने बताया कि गत 5 वर्षों में 706.82 करोड़ रुपए की बिजली चोरी पकड़ी गई है। बिजली चोरी कर रहे उपभोक्ताओं द्वारा जुर्माने के 378.33 करोड़ रुपए जमा किए जा चुके है। इस अभियान से बिजली निगम के टेक्निकल एवं डिस्ट्रीब्यूशन लॉस कम करने में सहायता मिली है।
उन्होंने बताया कि वर्तमान चल रहे वित्त वर्ष 2022-23 में गत माह तक 51.21 करोड़ रुपए की बिजली चोरी पकड़ी गई है और 31.22 करोड़ रुपए का जुर्माना वसूला जा चुका है। इस वर्ष बिजली निगम की संयुक्त जांच टीम द्वारा 61,649 उपभोक्ताओं के मीटर को चेक किया गया है जिसमें से 13,242 बिजली उपभोक्ता चोरी करते हुए पकड़े गए। इनके खिलाफ 12841 एफआईआर दर्ज करवाई गई हैं।
दक्षिण हरियाणा बिजली वितरण निगम ने वितरण प्रणाली में तकनीकी सुधार कर और चोरी का पता लगाकर तकनीकी और वितरण हानियों को काफी कम किया है। निगम टी एंड डी घाटे को रोकने के लिए बहुआयामी दृष्टिकोण अपना रहा है। मौजूदा वितरण नेटवर्क का तकनीकी संवर्धन, तकनीकी नुकसान को कम करने के लिए एचटी से एलटी अनुपात बढ़ाना और एचटी लाइनों को बढ़ाकर चोरी को रोकना है। ज्यादा हानि वाले फीडरों पर गहन और लक्षित चोरी का पता लगाने का अभियान जारी है।
प्रबंध निदेशक ने बताया कि गत वर्ष 2021-22 में 156.65 करोड़ रुपए की बिजली चोरी पकड़ी गई और 78.70 करोड़ रुपए का जुर्माना वसूला गया है। इस वर्ष बिजली निगम की संयुक्त टीम द्वारा 1,81,078 उपभोक्ताओं के मीटर को चेक किया गया जिसमें से 45,470 बिजली उपभोक्ता चोरी करते हुए पकड़े गए। इनके खिलाफ 42,501 एफआईआर दर्ज करवाई गई हैं।
विगत वर्ष 2020-21 में 163.66 करोड़ की बिजली चोरी पकड़ी जा चुकी है और 85.83 करोड़ का जुर्माना वसूला गया है। इस वर्ष बिजली निगम की संयुक्त टीम द्वारा 1,46,645 उपभोक्ताओं के मीटर को चेक किया गया जिसमें से 48,791 बिजली उपभोक्ता चोरी करते हुए पकड़े गए। इनके खिलाफ 43,716 एफआईआर दर्ज करवाई गई हैं।
वर्ष 2019-20 में 82.29 करोड़ की बिजली चोरी पकड़ी जा चुकी है और 54.04 करोड़ का जुर्माना वसूला गया है। इस वर्ष बिजली निगम की संयुक्त टीम द्वारा 99,458 उपभोक्ताओं के मीटर को चेक किया जा चुका है जिसमें से 26,369 बिजली उपभोक्ता चोरी करते हुए पकड़े गए। इनके खिलाफ 20,267 एफआईआर दर्ज करवाई गई हैं।
वर्ष 2018-19 में 86.24 करोड़ की बिजली चोरी पकड़ी जा चुकी है और 45.11 करोड़ का जुर्माना वसूला गया है। इस वर्ष बिजली निगम की संयुक्त टीम द्वारा 72,690 उपभोक्ताओं के मीटर को चेक किया जा चुका है जिसमें से 19,868 बिजली उपभोक्ता चोरी करते हुए पकड़े गए। इनके खिलाफ 15,498 एफआईआर दर्ज करवाई गई हैं।
वर्ष 2017-18 में 166.74 करोड़ की बिजली चोरी पकड़ी जा चुकी है और 86.40 करोड़ का जुर्माना वसूला गया है। इस वर्ष बिजली निगम की संयुक्त टीम द्वारा 1,18,900 उपभोक्ताओं के मीटर को चेक किया जा चुका है जिसमें से 56,127 बिजली उपभोक्ता चोरी करते हुए पकड़े गए। इनके खिलाफ 40,412 एफआईआर दर्ज करवाई गई हैं।
बिजली चोरी का बकाया जुर्माना जिन्होंने अभी तक जमा नहीं किया है उन उपभोक्ताओं पर पुलिस एवं कानूनी कार्रवाई की जा रही है। रिकवरी के लिए बिजली निगम द्वारा एफआईआर दर्ज करवाई गई हैं।
प्रबंध निदेशक पीसी मीणा ने कहा कि बिजली चोरी करना कानूनन अपराध है। बिजली चोरी पर जुर्माना और सजा का प्रावधान है। इसे खत्म करने में सभी का सहयोग अपेक्षित है। दक्षिण हरियाणा बिजली वितरण निगम द्वारा बिजली चोरी को रोकने के लिए एक पोर्टल भी बनाया गया है।
कोई भी व्यक्ति यदि किसी को बिजली चोरी करते हुए देखता है तो वह बिजली निगम के टोल फ्री नंबर 18001801011 पर या व्हाट्स ऐप नंबर 7027008325 अथवा ई-मेल [email protected] या [email protected] पर दे सकता है और बिजली चोरी रोकने में अपना योगदान दे सकता है। कोई भी प्रात: 9:00 बजे से रात के 9:00 बजे तक किसी भी कार्य दिवस पर चोरी की सूचना दे सकता है। निगम द्वारा चोरी बताने वाले को पुरस्कार देने का भी प्रावधान है। बिजली निगम द्वारा चोरी बताने वाले का नाम आदि गुप्त रखा जाता है। बिजली निगम की संयुक्त टीम द्वारा समय-समय पर बिजली चोरी रोकने का अभियान चलता रहता है। बिजली निगम अपने उपभोक्ताओं को बेहतर बिजली आपूर्ति करने और लाइन लॉसेस को कम करने में निरंतर प्रयासरत है।