मोनल कुकरेजा ने 10 साल में 10 राष्ट्रीय किक-बॉक्सिंग प्रतियोगिताओं में 10 बार गोल्ड मेडल जीत कर इतिहास रचा
Metro Plus से Naveen Gupta की रिपोर्ट।
Faridabad News, 29 अगस्त: मेरे देश को आगे बढ़ाना मेरा कर्तव्य है, ऐसी सोच रखने वाली फरीदाबाद की बेटी अंर्तराष्ट्रीय किक बॉक्सर मोनल कुकरेजा ने रांची के खेल गांव में ताना भगत सिंह स्टेडियम में 23 से 27 अगस्त तक चली चार दिवसीय राष्ट्रीय किक-बॉक्सिंग प्रतियोगिता में 52 किलोग्राम भारवर्ग में के-1 इवेंट में स्वर्ण पदक/गोल्ड मेडल जीता है।
मोनल कुकरेजा ने इस बार लगातार 10वीं बार राष्ट्रीय प्रतियोगिता में गोल्ड मेडल जीतकर अपना लोहा बनवाया है। मात्र 6 वर्ष की आयु से 16 वर्ष की आयु तक मोनल ने 10 साल में 10 राष्ट्रीय किक-बॉक्सिंग प्रतियोगिताओं में 10 बार स्वर्ण पदक जीत कर मिसाल कायम की है।
किक-बॉक्सिंग की इस यात्रा में अनेकों उतार-चढ़ावों को पार करते हुए हर परिस्थिति में हरसंभव प्रयास करते हुए आज मोनल ने इतिहास बनाया है। इतिहास बनाने की यह कड़ी मोनल के लिए पहली नहीं है। इससे पहले भी मोनल ने उज़्बेकिस्तान अंतरराष्ट्रीय किक बॉक्सिंग प्रतियोगिता में 2022 में एक ही दिन में लगातार अपने प्रतिद्वंदियों को पछाड़ते हुए 10 में से 8 अंतर्राष्ट्रीय फाइट्स जीतकर दो स्वर्ण एवं दो रजत पदक अपने नाम किए।
यह किक-बॉक्सिंग के इतिहास में पहली बार हुआ जिसका श्रेय मोनल को जाता है। लेकिन जो होता है, वह दिखता नहीं है। मोनल की माने तो उनके यहां तक पहुंचने का सफर जितना आसान दिखाई देता है, असल में उतना आसान है नहीं। इस सफर में अनेकों कठिनाइयां आई परंतु भगवान के आशीर्वाद और अपने माता-पिता के पूर्ण सहयोग से वह इस मुकाम तक पहुंची।
मोनल कुकरेजा का भविष्य सुनहरा हो। आज भारत को ऐसी ही बेटियों की जरूरत है जो दूसरी बेटियों के लिए प्रेरणा बने।