Metro Plus News
फरीदाबादहरियाणा

खुलासा: प्रदेशभर में 75 फीसदी मान्यता प्राप्त निजी स्कूलों में नहीं हैं आग से सुरक्षा के मानक पूरे

हादसा होने पर ही जागती है सरकार और शिक्षा विभाग, 2020 में दी बच्चों की सुरक्षा की शिकायत पर जमाई विभाग ने कुंडली।
मैट्रो प्लस से नवीन गुप्ता की रिपोर्ट।
चंडीगढ़, 13 अप्रैल:
जब कोई हादसा हो जाता है, तब सरकार और शिक्षा विभाग की नींद टूटती है और सरकार तत्परता दिखाती है। सन् 2017 में शिक्षा विभाग ने बच्चों की सुरक्षा को लेकर नीति बनाई थी, लेकिन 7 साल बाद भी विभाग ये नीति लागू नहीं करा पाया है। अब भी प्रदेशभर 75 फीसदी मान्यता प्राप्त निजी स्कूलों में आग से सुरक्षा के कोई मानक पूरे नहीं है। इस बात का खुलासा भी आरटीआई में ली गई जानकारी में हुआ है। स्वास्थ्य शिक्षा सहयोग संगठन के संस्थापक सदस्य बृजपाल सिंह परमार ने अब इस मामले की शिकायत मुख्य सचिव हरियाणा सरकार, अतिरिक्त मुख्य सचिव शिक्षा विभाग सहित अन्य को भेजी है।

बृजपाल सिंह परमार ने बताया कि 2020 से लेकर 2023 तक हरियाणा दमकल एवं आपातकालीन सेवाएं विभाग से निजी स्कूलों को फायर संबंधी एनओसी लिए जाने की आरटीआई मांगी थी। इस सूचना पर हिसार जिले में 109 स्कूलों के संबंध में सूचना मांगी थी जिसमें इस अवधि में एक भी स्कूल ने कोई फायर एनओसी नहीं ली। जबकि जींद जिले में 55 निजी स्कूलों में से 2020 से लेकर 2023 तक सिर्फ 10 निजी स्कूलों ने ही दमकल विभाग से फायर एनओसी ली है।

परमार ने बताया कि इसी तरह भिवानी जिले में 103 निजी स्कूलों के संबंध में ये जानकारी मांगी थी जिसमेें से 2020 में किसी स्कूल ने एनओसी नहीं ली, जबकि 2021 और 2022 में 8-8 निजी स्कूलों ने ही एनओसी ली थी। इसी तरह 2023 में भिवानी के सिर्फ 2 निजी स्कूलों को ही दमकल विभाग ने फायर एनओसी जारी की है।

बृजपाल सिंह परमार ने बताया कि 2020 में बच्चों की सुरक्षा से जुड़े मामले को लेकर सीएम विंडो में भी शिकायत दी थी। इस शिकायत पर शिक्षा विभाग निदेशालय कुंडली जमाकर बैठा है।

बृजपाल सिंह परमार ने आरोप लगाया है कि प्रदेशभर में 75 फीसदी निजी स्कूलों ने फायर एनओसी नहीं ली है जबकि कुछ निजी स्कूलों ने अधिकारियों से मिलीभगत कर फर्जी फायर एनओसी लगाकर भी मान्यता हासिल की है। ऐसे ही एक मामले में भिवानी जिले के एक निजी स्कूल के खिलाफ उनकी शिकायत पर जूईकलां पुलिस थाना में धोखाधड़ी का केस भी दर्ज हो चुका है।

शिक्षा अकादमी और कोचिंग सेंटरों में भी नहीं कोई सुरक्षा मानक:-
बृजपाल सिंह परमार ने दमकल विभाग से 2014 से अब तक आरटीआई में यह भी जानकारी मांगी थी कि भिवानी जिले में शिक्षा अकादमी, कोचिंग सेंटर और लाइब्रेरी की फायर एनओसी ली है या नहीं? इसके जवाब में किसी भी संस्थान की कोई फायर एनओसी नहीं हुई है। शिक्षा अकादमी, कोचिंग सेंटर और लाइब्रेरियों में भी बच्चों की सुरक्षा के मानक पूरे नहीं हैं। इनके अंदर भी कोई आग से हादसा होता है तो गंभीर परिणाम सामने आएंगे क्योंकि ये बहुमंजिला इलाकों में काफी संकरी और तंग जगहों में चल रहे हैं, जहां न तो आपातकाल में निकासी का कोई रास्ता है न आग से बचाव के कोई प्रबंध। आरटीआई में यह भी मांगा था कि एनओसी नहीं लेने पर क्या कार्रवाई की है तो दमकल विभाग का जवाब भी हास्यास्पद रहा कि इसका संस्थान खुद जिम्मेदार होगा।

संगठन की शिकायत के बाद बनाई थी विभाग ने सुरक्षा पॉलिसी:-
बृजपाल सिंह परमार ने बताया कि फरीदाबाद के एक निजी स्कूल में हुई घटना के बाद स्वास्थ्य शिक्षा सहयोग संगठन ने शिकायत दी थी। जिसके बाद हरियाणा स्कूल शिक्षा विभाग ने 2017 में स्कूलों के अंदर बच्चों की सुरक्षा और सुरक्षित वाहन ट्रांस्पोटेशन को लेकर नीति बनाई थी। इस बारे में जिला और खंड स्तर पर कमेटियों का भी गठन किया था, लेकिन 7 साल बाद भी शिक्षा विभाग अपनी ही बनाई नीति को लागू नहीं करा पाया है।


Related posts

टाइम्स बिजनेस Awards समारोह में होमर्टन ग्रामर स्कूल को मोस्ट इनोवेटिव स्कूल पुरस्कार से नवाजा गया।

Metro Plus

पहचानिये कौन है ये मनचले को पुलिसवालियों को छेड़ रहे थे?

Metro Plus

मुख्यमंत्री के आदेशों के बाद क्या अरावली क्षेत्र में बने अवैध फार्म हाऊसों और बेंक्वट हॉलों का सफाया हो पाएगा?

Metro Plus