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आयुष्मान भारतः राज्य सरकार ने बजट जारी कर सूचीबद्ध अस्पतालों को 2,900 करोड़ रुपये का भुगतान किया..


Metro Plus से Naveen Gupta की रिपोर्ट।
चंडीगढ़/फरीदाबाद, 5 अगस्त
: हरियाणा की राज्य स्वास्थ्य एजेंसी (SHA) ने कहा है कि राज्य सरकार से 4 अगस्त, 2025 को बजट प्राप्त हो गया है और तदनुसार पैनलबद्ध अस्पतालों को “पहले आओ, पहले पाओ” (FIFO) के आधार पर “आयुष्मान भारत – प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना” के तहत बकाया पैसे का भुगतान शुरू कर दिया गया है।

राज्य स्वास्थ्य एजेंसी के प्रवक्ता ने बताया कि भारतीय चिकित्सा संघ (IMA) द्वारा 28 जुलाई, 2025 को एक पत्र जारी किया गया था जिसमें “आयुष्मान भारत – प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना” के बकाया भुगतानों का हवाला देते हुए 7 अगस्त, 2025 से इस योजना के तहत सेवाओं को रोकने की बात कही गई थी।

इस संदर्भ में SHA ने कहा है कि राज्य सरकार की तरफ से कल 4 अगस्त को बजट प्राप्त हो गया है और उसी के अनुसार अब पैनलबद्ध अस्पतालों को “पहले आओ, पहले पाओ” (FIFO) के आधार पर भुगतान करना शुरू कर दिया गया है।

प्रवक्ता ने बताया कि हरियाणा के स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग ने मई 2025 के पहले सप्ताह तक पैनलबद्ध अस्पतालों द्वारा प्रस्तुत दावों का निपटान और भुगतान कर दिया है। योजना की शुरुआत से अब तक अस्पतालों को कुल 2,900 करोड़ रुपये वितरित किए जा चुके हैं। वित्त वर्ष 2025-26 के दौरान, 16 जुलाई 2025 तक राज्य और केंद्र सरकारों से 240.63 करोड़ रुपये की राशि प्राप्त हो चुकी है और पात्र दावों के निपटान के लिए इसका पूर्ण उपयोग किया जा चुका है।

पैनलबद्ध अस्पतालों द्वारा प्रस्तुत दावों का निपटान एनएचए NHA के ऑनलाइन प्लेटफॉर्म के माध्यम से 50 डॉक्टरों की एक टीम द्वारा किया जाता है। सभी कटौतियाँ एनएचए NHA के दिशानिर्देशों के अनुसार सख्ती से की जाती हैं और कटौती केवल तभी की जाती है जब पर्याप्त नैदानिक औचित्य या दस्तावेज़ीकरण का अभाव हो। किसी भी अस्वीकृति या कटौती से पहले अस्पतालों को आवश्यक सहायक दस्तावेज़ जैसे कि वाइटल चार्ट, नैदानिक चित्र, OT नोट्स और परीक्षण रिपोर्ट अपलोड करने का अवसर दिया जाता है। यदि कोई अस्पताल किसी कटौती से असहमत है तो वह पोर्टल के माध्यम से अपील दायर कर सकता है। इन अपीलों की समीक्षा एक निर्दिष्ट चिकित्सा लेखा परीक्षा समिति द्वारा की जाती है।

एसएचए SHA ने भुगतान में देरी, दावा अस्वीकृति और दावों का प्रसंस्करण न करने संबंधी अस्पतालों द्वारा उठाई गई शिकायतों का संज्ञान भी लिया है। अब तक पैनलबद्ध अस्पतालों की 400 से अधिक शिकायतों को औपचारिक रूप से सीजीआरएमएस CGRMS 2.0 पोर्टल के माध्यम से पंजीकृत किया जा चुका है। इस प्लेटफ़ॉर्म का प्रभावी ढंग से उपयोग करने में अस्पतालों का समर्थन करने के प्रयास में, एसएचए SHA ने अस्पताल प्रतिनिधियों के लिए प्रशिक्षण सत्र आयोजित किए हैं।

अस्पतालों के पैनलमेंट और एनएबीएच NABH प्रोत्साहनों के संबंध में वे सभी अस्पताल जिन्होंने एनएबीएच NABH प्रोत्साहन आवेदन प्रस्तुत किए थे और जिन्हें पूर्ववर्ती एचईएम 1.0 पोर्टल के माध्यम से अनुमोदन प्राप्त हुआ था, प्रोत्साहन के लिए पात्र बने रहेंगे, बशर्ते उनके एनएबीएच NABH प्रमाणपत्र वैध हो।

एनएबीएच NABH प्रोत्साहनों के लिए नए सिरे से आवेदन करने वाले अस्पतालों को एचईएम HEM 2.0 पोर्टल के माध्यम से अद्यतन दस्तावेज़ प्रस्तुत करने होंगे। ऐसे आवेदनों की समीक्षा एबी-एचएचपीए, एसएचए, हरियाणा के कार्यालय द्वारा प्राथमिकता के आधार पर की जाती है।

एसएचए SHA इस बात पर प्रकाश डालना चाहता है कि उनकी चिंताओं के समाधान के लिए आईएमए हरियाणा के साथ नियमित रूप से संवाद बनाए रखा जाता है।

उल्लेखनीय है कि हरियाणा जिला चिकित्सा लेखा परीक्षा समितियों और जिला शिकायत निवारण समितियों में आईएमए IMA का प्रतिनिधित्व सुनिश्चित करने वाला पहला राज्य है। इसके अतिरिक्त, राज्य शिकायत निवारण समिति और राज्य इमपैनलमेंट समिति में आईएमए IMA के माध्यम से निजी अस्पतालों का प्रतिनिधित्व सुनिश्चित किया जाता है।

एसएचए SHA हरियाणा स्वास्थ्य सेवा वितरण में पारदर्शिता, भुगतानों का समय पर वितरण और सार्वजनिक-निजी भागीदारी को मजबूत करने के लिए प्रतिबद्ध है। भुगतान की स्थिति और अन्य परिचालन संबंधी मामलों पर नियमित अपडेट आधिकारिक माध्यमों से हितधारकों के साथ साझा किए जा रहे हैं। एसएचए SHA सभी हितधारकों से आग्रह करता है कि वे आयुष्मान भारत योजना के तहत हरियाणा के लोगों की स्वास्थ्य देखभाल आवश्यकताओं को पूरा करने में अपने सहयोगात्मक प्रयास जारी रखें।

वहीं देखना यह है कि अब IMA सात अगस्त से आयुष्मान भारत योजना के मरीजों को लेता है या नहीं जिसकी IMA ने घोषणा कर रखी है।


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