Metro Plus News
एजुकेशनफरीदाबादहरियाणा

Dynasty International में धूमधाम से मनाया गया शिक्षक दिवस

बिना गुरू के मनुष्य का जीवन कड़वे फल की तरह होता है: डॉ.बिमला वर्मा
मैट्रो प्लस से ऋचा गुप्ता की रिपोर्ट
फरीदाबाद, 7 सितंबर : सैक्टर-28 स्थित डायनेस्टी इंटरनेशल स्कूल में शिक्षकों एवं छात्र-छात्राओं के सहयोग से शिक्षक दिवस बहुत ही उत्साह के साथ मनाया गया। ध्यान रहे कि स्वतंत्र भारत के पहले उप-राष्ट्रपति और दूसरे राष्ट्रपति डॉ० सर्वपल्ली राधाकृष्ण का नाम स्वर्णाक्षरों से लिखा गया है। वे दर्शनशास्त्र के ज्ञाता थे। वे प्रसिद्व शिक्षक थे। उनकी याद को हर वर्ष 5 सितम्बर को शिक्षक दिवस के रूप में मनाया जाता हैं। उनका मानना था कि शिक्षकों का मस्तिष्क देश में सबसे अच्छा होना चाहिए, क्योंकि देश को बनाने में उन्ही का सबसे बड़ा योगदान होता है।
इस मौके पर विद्यालय की प्रधानाचार्या डॉ.बिमला वर्मा एवं वरिष्ठ वर्ग तथा कनिष्ठ वर्ग की संयोजिकाओं मीनू वोहरा एवं कनुप्रिया पाराशर द्वारा डॉ० सर्वपल्ली राधाकृष्ण के चित्र पर माल्यार्पण एवं दीप प्रज्ज्वलन के साथ कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया। तत्पश्चात छात्र-शिक्षकों केद्वारा सभी शिक्षकों को हरित-पादप (रोपक) एवं उचित उपाधियों से सम्मानित किया गया।
विद्यालय की प्रधानाचार्या डॉ.बिमला वर्मा ने छात्र-छात्राओं का उत्साहवर्धन करते हुए शिक्षा के महत्व से सभी को जागरूक करवाया। इस अवसर पर पांच वर्ष सम्पन्न होने पर सुधा पाण्डेय, गौरव सक्लानी, कुमोद मंडल, गीता कुण्ड, देशराज गुप्ता, संदीप शर्मा, नयना सक्सेना, अल्का शर्मा एवं आचार्य योगेन्द्र आदि शिक्षकों को विभिन्न उपाधियों से सम्मानित किया गया।
इसी क्रम में कुछ संस्थाओं ने भी डायनेस्टी इंटरनेशल विद्यालय के शिक्षकों संदीप अग्रवाल एवं गुरलीन कौर को सर्वश्रेष्ठ शिक्षक के पुरस्कार से सम्मानित किया। साईंधाम संस्था द्वारा संदीप अग्रवाल को तथा पुंडित संस्था द्वारा गुरलीन कौर को सम्मानित किया गया।
इस पावन अवसर पर डॉ.बिमला वर्मा ने अपने विद्यालय की सफलता का श्रेय अपने शिक्षक-शिक्षिकाओं के कठिन परिश्रम को देते हुए उनकी सराहना की।
इस मौके पर स्कूल की छात्राओं द्वारा विभिन्न कार्यक्रम आयोजित किए गए जिनमें शिक्षकों ने अपनी कला का प्रदर्शन करके अपनी प्रतिभा से छात्रों को हरफनमौला बनने की प्रेरणा दी। शिक्षक दिवस के मौके पर स्कूली छात्राओं द्वारा नृत्य, गायन, कविता इत्यादि का प्रदर्शन किया गया। तम्बोला जैसे खेल के माध्यम से सभी का भरपूर मनोरंजन किया गया जिससे कि शिक्षकों एवं छात्रों के मध्य एक स्वस्थ संबंध कायम हो सके। देश उन्नति एवं प्रगति के पथ पर निरन्तर आगे बढ़ते हुए विश्व में अपना परचम लहरा सके। इस प्रकार अत्यन्त उत्साह के साथ शिक्षक-दिवस का यह आयोजन सम्पन्न हुआ।
गुरू की महिमा क्या करें, निर्मल गुरू से ही होए।
बिन गुरूवर, जीवन कटुफल सा होए।।


Related posts

2019 की पटकथा बनेगी जन-आक्रोश रैली: सुमित गौड़

Metro Plus

…जब मनोज गोयल ने दिया SDM को अल्टीमेटम

Metro Plus

FMS स्कूल के बच्चों ने किया डाकघर का दौरा

Metro Plus