मैट्रो प्लस से नवीन गुप्ता की रिपोर्ट
फरीदाबाद, 17 सितम्बर: इंजीनियरिंग क्षेत्र में बेहतर योगदान के लिए द इंस्टीट्यूशन ऑफ इंजीनियर्स फरीदाबाद चैप्टर द्वारा लघु उद्योग भारती के उपाध्यक्ष गौतम चौधरी को इंजीनियर्स-डे पर सम्मानित किया गया है। काबिलेगौर रहे कि इससे पहले यह प्रतिष्ठित पुरस्कार उनके बड़े भाई वी.एस. चौधरी को भी मिल चुका है। गौतम चौधरी को यह पुरस्कार मिलने पर लघु उद्योग भारती के प्रदेश उपाध्यक्ष अरुण बजाज, उद्योगपति रमेश झंवर, मानव सेवा समिति के प्रधान पवन गुप्ता, इंस्टीट्यूशन के पूर्व अध्यक्ष जे.पी. सिंह सहित लघु उद्योग भारती के जिला अध्यक्ष रवि भूषण खत्री और पूरी टीम ने बधाई दी है।
गौरतलब रहे कि श्री गौतम ने थापर यूनिवर्सिटी (पंजाब)से अपनी मैकेनिकल इंजीनियरिंग की पढ़ाई पूरी कर एस्कॉट्र्स ग्रुप से अपने इंजीनियरिंग कैरियर की शुरुआत की थी। इसके बाद में उन्होंने खुद का व्यवसाय शुरू किया। गौतम चौधरी के जीवन का मूल मंत्र है संघर्ष करने वाले की कभी हार नहीं होती। इसी मूल मंत्र के साथ उन्होंने उद्योग के क्षेत्र में एक अलग पहचान बनाई है। सैक्टर-21सी स्थित होटल में एनएचपीसी के सी.एम.डी. बलराम जोशी, लघु उद्योग भारती के पूर्व प्रदेश संयोजक एम.पी. रूंगटा, एम.एल. शर्मा और इंस्टीट्यूशन के फरीदाबाद चैप्टर के अध्यक्ष और महासचिव ने प्रशस्ति पत्र देकर गौतम चौधरी को सम्मानित किया।
इस अवसर पर श्री गौतम ने इंजीनियरिंग की पढ़ाई कर रहे व नए इंजीनियरों को अपना संदेश देते हुए कहा कि एक इंजीनियर में तीन चीजों का होना निहायत ही जरूरी है। पहला, निष्पक्ष सोच के साथ बिना किसी से भेदभाव किए हुए उस कार्य को अमलीजामा पहनाना। दूसरा, कार्य की गहनता पर हमेशा चिंतन मनन करना ताकि जब इंजीनियर किसी भी चीज की नींव रखता हो तो भविष्य में उसके कार्यों पर किसी तरह की उंगली नहीं उठे। तीसरा, वह अपने काम के प्रति ईमानदार और संवेदनशील रहे। नित्य इनोवेटिव यानी नई सोच को विकसित करता रहे जिससे उसके प्रोफेशन में ताजगी बनी रहे। मौजूदा समय में उद्योगपति इंजीनियर गौतम चौधरी वी.एन.एम. ग्रुप ऑफ कंपनी के डॉयरेक्टर हैं।