Metro Plus से Jassi Kaur की रिपोर्ट
Faridabad News, 22 अक्टूबर: अष्टमी व रामनवमी को लेकर चल रहा असमंजस समाप्त, इस समय और इस दिन होंगे शुभ महुर्त नवरात्रों में सप्तमी व अष्टमी को लेकर चला रहा असमंजस समाप्त हो गया है। वीरवार को जहां छठीं व सप्तमी एक साथ मनाई जा रही है, वहीं शुक्रवार की सुबह से अष्टमी आरंभ हो जाएगी। सिद्धपीठ महारानी वैष्णोदेवी मंदिर ने छठी व सप्तमी के दिन वीरवार को होने की घोषणा की है, साथ ही यह भी कहा है कि अष्टमी व नौवीं को लेकर चल रहे असमंजस को भी दूर कर दिया है।
इस मौके पर मंदिर के प्रधान जगदीश भाटिया ने बताया कि वैष्णोदेवी मंदिर कटरा के पुजारियों से बातचीत होने के बाद तय हो गया है कि शुक्रवार को प्रात: 6 बजकर 59 मिनट से अष्टमी का शुभारंभ होगा, जोकि शनिवार सुबह से 6 बजकर 58 मिनट तक रहेगा। इसके बाद रामनवमी का शुभारंभ हो जाएगा। उन्होंने बताया कि इस बार एक नवरात्रा कम है, इसलिए लोगों में सप्तमी, अष्टमी व रामनवमी को लेकर असमंजस की स्थिति बनी हुई है। उन्होंने बताया कि मां वैष्णोदेवी मंदिर कटरा के पुजारियों ने यह साफ कर दिया है कि छठी व सप्तमी वीरवार को मनाई जा रही है। शुक्रवार सुबह 6 बजकर 59 मिनट से अष्टमी का त्यौहार मनाया जा सकेगा। शनिवार सुबह 6 बजकर 58 मिनट तक अष्टमी रहेगी। इसके पश्चात रामनवमी का शुभारंभ हो जाएगा। रामनवमी का शुभ महुर्त 6 बजकर 59 मिनट से आरंभ हो जाएगा। यानि कि शनिवार को प्रात: 6 बजकर 59 मिनट से रामनवमी का आगमन हो जाएगा और रविवार 7 बजकर 41 मिनट तक रामनवमी समाप्त हो जाएगी। नवरात्रों को छठे दिन वीरवार को एक साथ मनाई गई छठीं व सप्तमी, वैष्णोदेवी मंदिर में हुई भव्य पूजा नवरात्रों के छठे दिन वीरवार को छठी व सप्तमी एक साथ मनाई गई।
इस अवसर पर सिद्धपीठ श्री वैष्णादेवी मंदिर में मां कात्यायनी की भव्य पूजा अर्चना की गई। प्रात:कालीन आरती के साथ मंदिर में भक्तों ने मां कात्यायनी के समक्ष अपनी अरदास की। इस अवसर पर शहर के प्रमुख लोगों ने मंदिर में आयोजित भव्य पूजा अर्चना में हिस्सा लिया। इस अवसर पर माता रानी की 5 हजार भेंटे लिख चुके गायक व गीतकार अनिल कत्याल ने मंदिर में पहुंचकर विशेष पूजा अर्चना में हिस्सा लिया। उन्होंने माता के समक्ष अपनी अरदास लगाई और पूजा अर्चना की।
इस मौके पर मंदिर संस्थान के प्रधान जगदीश भाटिया ने अनिल कत्याल को माता की चुन्नी भेंट कर उनका स्वागत किया। इस पुण्य अवसर पर मंदिर में उपस्थित सभी लोगों ने कात्यायनी माता की पूजा में हिस्सा लिया तथा हवन यज्ञ में आहुति डाली। श्री भाटिया ने बताया कि मंदिर में दर्शन करने वाले भक्तों ने कोविड-19 के चलते सोशल डिस्टेंस के साथ पूजा अर्चना की। मंदिर संस्थान की ओर से सभी भक्तों से मास्क पहनकर ही प्रवेश करने की अपील की। प्रधान जगदीश भाटिया ने कहा कि मंदिर में कोविड-19 के तहत सभी प्रबंधन किए गए हैं।
इस अवसर पर उन्होंने सभी भक्तों से कहा कि कात्यायनी माता की सच्चे मन से पूजा करने से सभी मुराद पूरी होती हैं। श्री भाटिया ने कहा कि मां कात्यायनी को शुद्ध शहद व केसर सबसे प्रिय है। मां को शहद और केसर का भोग लगाया जाता है। इससे मां कात्यायनी अति प्रसन्न होती हैं। मां कात्यायनी को सोने की भांति चमकने वाला सुनहरा रंग बहुत ही प्रिय है।