Metro Plus News
एजुकेशनफरीदाबादराजनीतिहरियाणा

शिक्षाविद् एवं जजपा नेता फौगाट ने लिया सरकार को आड़े हाथों, जानें कैसे?

बिना परीक्षा के बच्चों को पास करना परीक्षा का मजाक बनाने जैसा: फौगाट
निजी स्कूलों को खोले या आर्थिक पैकेज दे सरकार: चन्द्रसेन शर्मा
मैट्रो प्लस से नवीन गुप्ता की रिपोर्ट
फरीदाबाद, 15 अप्रैल:
बल्लभगढ़ प्राइवेट स्कूल्स एसोसिएशन के प्रवक्ता एवं फौगाट स्कूल के डॉयरेक्टर डॉ. सतीश फौगाट जोकि जजपा नेता भी हैं, ने सरकार को आड़े हाथों लेते हुए कहा है कि 10वीं की कक्षाओं को रद्द करने से जिन बच्चों ने अच्छी तैयारी की थी, उनके परिणामों और मन पर नकारात्मक असर पड़ेगा। वहीं जिन बच्चों की तैयारी नहीं थी, उनको बिना कुछ किए पास होने का अवसर मिलेगा। दोनों ही स्थितियां गलत हैं। ऐसे में परीक्षा केवल एक मजाक बनकर रह जाएगी। उन्होंने कहा कि सरकार तुरंत प्रभाव से स्कूलों को खोलने या आर्थिक पैकेज देने की घोषणा करे। एसोसिएशन के प्रवक्ता डॉ. सतीश फौगाट ने कहा कि सरकार द्वारा पहली से 8वीं तक की कक्षाओं को बंद करने, 10वीं कक्षा के बोर्ड परीक्षाओं को रद्द करने का बड़ा नकारात्मक असर स्कूल, स्टाफ, बच्चे और अभिभावकों पर पड़ेगा। सरकार इन आदेशों को अविलंब वापिस लेकर आल्टरडेज पर क्लास लगाने, कम संख्या में बच्चों को बुलाने आदि आदेश दे तो कुछ राहत सभी को मिल सकती है। ये विचार फौगाट ने बल्लभगढ़ प्राइवेट स्कूल्स एसोसिएशन के एक प्रतिनिधिमंडल द्वारा आज जिला शिक्षा अधिकारी रितु चौधरी को मुख्यमंत्री मनोहर लाल और शिक्षा मंत्री कंवर पाल के नाम एक ज्ञापन सौंपने के बाद प्रेस को जारी बयान में व्यक्त किए।
बल्लभगढ़ प्राइवेट स्कूल्स एसोसिएशन के प्रतिनिधिमंडल ने ज्ञापन के माध्यम से राज्य सरकार से मांग की है कि वह निजी स्कूलों को बंद रखने का निर्णय वापिस ले या उन्हें आर्थिक पैकेज दे।
एसोसिएशन के प्रधान चन्द्रसेन शर्मा ने बताया कि पिछला एक साल तो स्कूलों ने जैसे-तैसे काट लिया लेकिन अब वह और बर्दाश्त करने की स्थिति में नहीं हैं। स्कूल संचालक बर्बाद होने की कगार पर है और स्कूलों से रोजगार पाने वालों का भविष्य अधर में है। सरकार हमें विशेष आर्थिक पैकेज दे, जिससे कि हम भी इस कोराना काल में अपना जीवन चला सकें।
वहीं महासचिव सतीश शर्मा ने बताया कि स्कूलों में खड़ी बसों का रोड टैक्स, इंश्योरेंस, चालक, संवाहक आदि सभी खर्चे उन पर बने हुए हैं। लेकिन सरकार की ओर से स्कूलों को चलने नहीं दिया जा रहा है। जिससे उनकी रोजी रोटी का संकट खड़ा हो गया है। हमें स्कूलों के स्टाफ के वेतन, ईएसआई, पीएफ आदि सभी खर्चे देने हैं लेकिन हमारे हालात बड़े खराब हैं। बार बार स्कूलों को बंद करने से बच्चों की पढ़ाई पर भी गहरा असर पड़ रहा है। जिसके दूरगामी नकारात्मक प्रभाव पड़ सकते हैं। सरकार इस ओर खुलेमन से ध्यान दे।
इस अवसर पर उनके साथ अवतार सिंह, ओमप्रकाश धनखड़, राजकुमार सिसोदिया, प्रताप सिंह वशिष्ठ, सूर्य प्रताप सिंह, डालचंद शर्मा, भरत शर्मा, कमल शर्मा, जेपी सिंह, चौ विरेंद्र सिंह आदि स्कूल संचालक मौजूद रहे।


Related posts

DLF Association व Rotary Club फरीदाबाद मिड टाउन द्वारा Awareness चैकअप कैंप का आयोजन किया गया

Metro Plus

चिंतन और मंथन फेल, जनता सिखाएगी सबक: अशोक तंवर

Metro Plus

NH-5: पार्षद या अधिकारी, किसकी शहर पर बन रही हैं अवैध कॉमर्शियल बिल्डिंगें?

Metro Plus