Metro Plus से Naveen Gupta की रिपोर्ट।
Chandigarh, 25 दिसंबर: सालों से भारतीय प्रशासनिक सेवा (IAS) के अधिकारियों की कमी झेल रहे हरियाणा में नया साल एक बार फिर से प्रशासनिक चुनौतियां बढ़ाने वाला साबित हो सकता है। कारण है, वर्ष 2026 में राज्य के 13 वरिष्ठ IAS अधिकारियों का सेवानिवृत्त होना जिससे की ब्यूरोक्रेसी पर काम का दबाव और बढ़ जाएगा। वहीं सेवानिवृत्त होने वाले अधिकारियों की लिस्ट में एक साल का सेवा विस्तार पा चुके मुख्य सचिव अनुराग रस्तोगी के साथ-साथ कई सीनियर अधिकारी भी शामिल हैं।
सेवानिवृत्त होने वाले अधिकारियों में 1990 बैच के वरिष्ठ IAS सुधीर राजपाल, अतिरिक्त मुख्य सचिव स्तर के. राजा शेखर वुंडरू और 1992 बैच के अरुण कुमार गुप्ता, केंद्र सरकार में सचिव अभिलक्ष लिखी तथा प्रधान सचिव स्तर के डी. सुरेश भी शामिल हैं। इनमें अरुण कुमार गुप्ता वर्तमान में मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव की जिम्मेदारी संभाल रहे हैं। इसके अलावा 2005 बैच के IAS रमेश चंद्र बिधान भी 31 दिसंबर को सेवानिवृत्त हो जाएंगे।
बता दें कि राज्य में इस समय प्रदेश में हरियाणा कैडर के आईएएस अधिकारियों के 225 पद स्वीकृत हैं लेकिन कार्यरत हैं केवल 183 IAS अधिकारी वहीं 12 IAS अधिकारी केंद्र सरकार में प्रतिनियुक्ति पर हैं। यानि कि पहले से ही प्रदेश में IAS अधिकारियों के 42 पद खाली हैं। वैसे तो हाल ही में हरियाणा को 6 नए IAS अधिकारी मिले हैं, लेकिन 13 वरिष्ठ IAS अधिकारियों के रिटायर होने से स्थिति और गंभीर हो सकती है।
हालात ये हैं कि कई वरिष्ठ अधिकारियों को एक साथ तीन-चार विभागों का प्रभार भी संभालना पड़ रहा है। अधिकारियों के इस बोझ को कम करने के लिए ही सरकार ने कई IPS, IFS, IRS और अन्य सेवाओं के अधिकारियों को IASअधिकारियों की तैनाती वाले पदों पर तैनात किया हुआ है। हालांकि सरकार के पास विकल्प है कि वह योग्य HCS अधिकारियों को पदोन्नत कर आईएएस के खाली पद भर सकती है, लेकिन फिलहाल पदोन्नति कोटे के कई पद भी रिक्त पड़े हैं। अब देखना यह है कि प्रदेश सरकार भविष्य में होने वाले IAS अधिकारियों की कमी का सामना किस प्रकार से करती है।





