मैट्रो प्लस से नवीन गुप्ता की रिपोर्ट
फरीदाबाद, 28 जून: सड़क सुरक्षा एवं सुरक्षित स्कूल वाहन पॉलिसी के तहत समीरपाल उपायुक्त के आदेशानुसार, आशुतोष राजन सचिव आरटीए के दिशा निर्देशानुसार सड़क सुरक्षा के नोडल अधिकारी डॉ० एमपी सिंह ने माननीय उच्च न्यायालय के आदेशों की पालना करने हेतु केन्द्रीय विद्यालय नं०-2, में एक दिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया और निबन्ध, भाषण व कला प्रतियोगिता का आयोजन कराया जिसमें 8वीं, 9वीं व 11वी कक्षा के लगभग 400 विद्यार्थियों ने भाग लिया। प्रतियोगिताओं में प्रथम, द्वितीय व तृतीय स्थान हासिल करने वाले प्रतिभागियों को विभागीय सर्टिफिकेट व पारितोषिक भी प्रदान किया।
इस अवसर पर डॉ० एमपी सिंह ने अपने सम्बोधन में कहा कि 18 साल से कम उम्र के विद्यार्थियों को कोई भी वाहन नहीं चलाना चाहिए और ना ही अपने माता-पिता व अभिभावकों से वाहन लेने की जिद करनी चाहिए। कई बार विद्यार्थियों की जिद माता-पिता के लिए ज्यादा हानिकारक सिद्ध हो जाती है और कई परिवारों के कुल के दीपक सड़क हादसे में मारे जाते हैं।
इस मौके पर डॉ० एमपी सिंह ने कहा कि बेटियां प्रचार और प्रसार का सबसे उत्तम माध्यम होती हैं क्योंकि उनका कहना माता-पिता के अलावा भाई भी मानते हैं। यदि कभी बिना हेलमेट के भाई वाहन को बाहर लेकर जाता है तो बहन को उसके सिर पर हेलमेट पहनाकर ठोड़ी के नीचे चटकनी लगा देनी चाहिए और जब कभी पिता बिना सीट बैल्ट लगाये अपने वाहन को चलाता है तो बहन या बेटी को सीट बैल्ट अपने हाथ से लगा देनी चाहिए और संवेदनात्मक शब्दों का प्रयोग करना चाहिए।
संवेदनात्मक शब्दों का जैसे मुझे अपने भाई से बहुत प्यार है यदि मेरे भाई के साथ कुछ अनहोनी हो गई तो मैं राखी किसको बाधुंगी, इस बात को सुनकर भाई प्रभावित हो जाता है और बहन का कहना मानकर हेलमेट पहन लेता है और भविष्य में होने वाली दुर्घटना से बच जाता है।
इस अवसर पर विद्यालय की प्रधानाचार्य श्रीवास्तव ने आए हुए अतिथियों का स्वागत किया और आभार व्यक्त किया। कार्यक्रम की कोरडीनेटर संगीता रघुवंशी ने आश्वस्त किया कि हमारे विद्यालय के विद्यार्थी हमेशा जिला प्रशासन की गतिविधियोंं में साथ रहते हैं और सर्वोत्तकृष्ट कार्य करने के लिए तत्पर रहते हैं। कार्यक्रम में बबीता की अहम भूमिका रही।